वाराणसीः पीएम की अपील पर जले दीये और मोमबत्तियां, खूब फूटे पटाखे, जुलूस भी निकला

वाराणसीः पीएम की अपील पर जले दीये और मोमबत्तियां, खूब फूटे पटाखे, जुलूस भी निकला


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अपील पर उनके संसदीय क्षेत्र वाराणसी में रविवार की रात ठीक नौ बजे लोगों ने दीये और मोमबत्ती तो जलाई ही पटाखे भी खूब फोड़े। कई स्थानों पर थाली और ताली भी बजाई गई। कुछ स्थानों पर अति उत्साह दिखाई दिया। युवाओं का हुजूम हाथों में मोमबत्तियां जेलकर सड़कों पर आ गया। भारत माता की जय, हर हर महादेव और जय श्रीराम के गगनभेदी नारे देर तक गूंजते रहे। जिन मुहल्लों में स्ट्रीट लाइटें भी बुझा दी गईं वहां का नजारा देखते ही बना।


कुछ घरों से आकाशदीप भी छोड़े गए। पटाखे भी काफी लोगों ने छोड़े और करीब आधे घंटे तक आतिशबाजी होती रही। नौ बजकर नौ मिनट तक ही घरों की बिजली बंद करनी थी, लेकिन नौ बजकर 25 मिनट तक करीब सभी घरों में बिजली बंद रही। वाराणसी के साथ ही पूर्वांचल के सभी जिलों सोनभद्र, बलिया, गाजीपुर, मऊ, आजमगढ़, मिर्जापुर, जौनपुर, भदोही और चंदौली में भी एक जैसा नजारा रहा। मऊ की मुस्लिम बस्तियों में भी दीये जलाए गए। 


लोगों ने बरामदे औऱ दरवाजों पर दीये जलाए ही, छतों पर आकर दीपक और मोमबत्तियां जलाईं। मोबाइल की फ्लैश लाइट भी हवा में लहराई गई। गंगा आरती के लिए प्रसिद्ध दशाश्वमेध घाट को दीपकों की लड़ियों से सजा दिया गया। गंगोत्री सेवा समिति की ओर से होने वाली आरती स्थल पर पं. किशोरी रमण दुबे ने घाट के तख्तों पर दीपक जलाए। वहीं गंगा सेवा निधि ने दीपकों से जय मां भारती लिखा। माझी समाज के लोगों ने भी सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुए दूर दूर रह कर केदार घाट की सीढियों पर दीपक जलाए। वहीं बहुत से ऐसे लोग भी थे, जिन्होंने दीपक जलाने से पहले अपने-अपने घरों में सुंदरकांड का पाठ किया।


इसके पीछे उनका तर्क था कि वह एक तरफ प्रधानमंत्री के आह्वन का सम्मान कर एकता प्रदर्शित कर रहे हैं, वहीं सुंदरकांड का पाठ करके राष्ट्र मंगल की कामना कर रहे हैं। घाट किनारे के भवनों में रहने वालों ने भी दीपकों की कतार लगा दी। ऐसा लगा चैत्र माह में ही दीपावली मनाई जा रही है। इस दौरान लोगों ने अपने-अपने घरों की लाइट तो बंद कर दी थी, लेकिन कई जगह स्ट्रीट लाइट जलती रही। कुछ लोग जो सड़कों और गलियों में थे, उन्होंने स्ट्रीट लाइट बंद करने की कोशिश की मगर कामयाब नहीं हो सके। सड़क पर सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों ने अपनी जगह खड़े होकर मोमबत्तियां जलाईं। जिनके पास मोमबत्तियां नहीं थी उन्होंने अपने मोबाइल की फ्लैश लाइट जलाई और हाथ उठा कर फोन हवा में लहराया।